पांच मिनट के लिए बेटे से मिलवा दो, पता नहीं फिर देख पाऊं या नहीं; अतीक की गुजारिश
नैनी जेल से कोर्ट में पेशी के लिए जाते समय माफिया अतीक अहमद के चेहरे पर डर साफ नजर आया। उसे पता था कि कोर्ट से उसे रिमांड पर दिया जा सकता है। रिमांड के दौरान कुछ भी हो सकता है। उसने कोर्ट जाने से पहले नैनी जेल में बंद अपने दूसरे बेटे अली से मिलने की गुजारिश की। उसने कहा कि पांच मिनट के लिए ही एक बार अली से मिलवा दो। पता नहीं फिर देख पाउं या नहीं। हालांकि अधिकारियों ने इजाजत नहीं होने की बात कहते हुए उसकी गुजारिश नहीं मानी।
अतीक को बुधवार को साबरमती जेल से प्रयागराज के नैनी जेल में लाया गया था। इसी नैनी जेल में अतीक का बेटा अली भी बंद है। इसीलिए अतीक ने जेल प्रशासन से अपने बेटे अली से मिलने की गुजारिश की। जेल प्रशासन से कहा है कि वो 5 मिनट के लिए अपने बेटे से मिलना चाहता है। हालांकि मिलवाने की इजाजत नहीं होने का हवाला देकर अतीक की इच्छा पूरी नहीं कराई जा सकी।
अतीक यूपी आने के बाद किस कदर डरा हुआ है इसका उदाहरण साबरमती जेल से आने के दौरान ही चल गया था। उसने मीडिया के सामने साफ कहा कि उसकी माफियागिरी तो बहुत पहले खत्म हो गई है। अब उसे रगड़ा जा रहा है। उसका यह डर नैनी जेल आने के बाद भी दिखाई दिया। यही कारण है कि उसने बेटे से मिलने की गुजारिश की। अतीक के चेहरे पर इस दौरान एसटीएफ और पुलिस का डर साफ झलक रहा था। उसे अपने पुलिस रिमांड पर देने की आशंका सता रही थी। उसे डर लग रहा था कि पुलिस की रिमांड के दौरान उसके साथ कुछ भी हो सकता है। बताया जा रहा है कि नैनी जेल से कोर्ट लाने के दौरान उसका बीपी का हाई था। डॉक्टरों ने अतीक को बीपी की दवाई भी दी है।
बेटे के ढेर होने की खबर पर फूट-फूटकर रोया
बेटे असद के एनकाउंटर में ढेर होने के बाद माफिया अतीक अहमद बुरी तरह से टूट चुका है। बेटे के मारे जाने की खबर उसे तब लगी जब उमेश पाल हत्याकांड में उसकी प्रयागराज की कोर्ट में पेशी हो रही थी। बेटे की मौत के बाद भाई अरशद के साथ कोर्ट रूम में बैठे अतीक के चेहरे पर डर साफ नजर आया। उसकी आंखों से आंसू भी छलकते देखा गया। सिर से गमछा उतारकर उसने अपने चेहरे को कुछ देर के लिए ढंग लिया। इस दौरान वह फूट-फूटकर रोया भी।
अतीक के दो अन्य नाबालिग बेटे भी उमेश पाल हत्याकांड वाले दिन से गायब हैं। पुलिस ने दोनों के बाल गृह में होने का दावा किया है। हालांकि उसके वकीलों या परिवार के किसी सदस्य की दोनों बेटों से मुलाकात अभी तक नहीं हो सकी है।
*चार दिन की रिमांड पर रहेगा*
अतीक का डर उस समय और बढ़ गया जब उसे पुलिस रिमांड पर देने का आदेश हो गया। एक तरफ बेटे असद के एनकाउंटर में मारे जाने का गम तो दूसरी तरफ चार दिन के रिमांड ने अतीक की हालत खराब कर दी है। जिस माफिया के नाम से ही प्रयागराज में बड़े से बड़े लोग भी थर-थर कांपते थे, वह माफिया अब रिमांड के नाम से कांप रहा था। कई दशक के आपराधिक इतिहास में पहली बार उसे पुलिस की रिमांड पर दिया जा गया है।
रिमांड के दौरान भले ही वकीलों को उसके साथ रहने की इजाजत मिली है लेकिन उसका डर बरकरार है। साबरमती जेल से आते समय उसने मीडिया का शुक्रिया भी अदा किया था। उसका कहना था कि मीडिया के साथ होने के कारण फिलहाल उसे किसी तरह का डर नहीं है। लेकिन रिमांड के दौरान मीडिया साथ नहीं रहेगी। ऐसे में उसका डर बढ़ता ही जा रहा है।