ज्ञानवापी प्रकरण में मुसलमानों को बड़ा दिल दिखाने की जरूरत-शादाब शम्स
ज्ञानवापी प्रकरण में मुसलमानों को बड़ा दिल दिखाने की अपील होने लगी है। इस आशय की अपील उत्तराखंड वक्फ बोर्ड के चेयरमैन शादाब शम्स ने की है
अब मुस्लिम समाज की ओर से भी ज्ञानवापी प्रकरण में मुसलमानों को बड़ा दिल दिखाने की अपील होने लगी है।
गुरुवार को ज्ञानवापी प्रकरण पर प्रतिक्रिया देते हुए वक्फ बोर्ड के चयरमैंन शादाब शम्स ने कहा कि भारत में न्यायालय का निर्णय सर्वोच्च है। उन्होंने जोर देकर कहा कि दोनों पक्षों को कोर्ट के फैसले का स्वागत करना चाहिए और एक दूसरे के साथ अच्छा व्यवहार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट आने के बाद पता चल जाएगा कि ज्ञानवापी पहले मंदिर था या नहीं। शम्स ने कहा कि सर्वे रिपोर्ट पर कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए, इससे वास्तविकता का पता चलेगा।
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए ASI सर्वे पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की याचिका को खारिज कर दिया है.
हाईकोर्ट चीफ जस्टिस प्रीतिंकर दिवाकर की सिंगल बेंच ने ये फैसला सुनाते हुए मुस्लिम पक्ष की याचिका को खारिज कर दिया है.
एएसआई ने कहा कि अगर खुदाई करने की जरुरत हुई तो उसके लिए पहले कोर्ट से इजाजत ली जाएगी. कोर्ट के फैसले के बाद अब कभी भी ज्ञानवापी परिसर का एएसआई सर्वे शुरू किया जा सकता है. हिन्दू पक्ष के वकील विष्णु जैन के मुताबिक कोर्ट ने इस बात को स्वीकार किया कि सर्वे को किसी भी स्टेज पर शुरू किया जा सकता है.
आपको बता दें कि हिंदू पक्ष का कहना है कि विवादित जगह पहले मंदिर था. औरंगजेब ने मंदिर तोड़कर मस्जिद बनवाई थी. विवादित परिसर में आज भी हिंदू धर्म के प्रतीक चिन्ह मौजूद हैं. एडवोकेट कमीशन की रिपोर्ट में यह सामने भी आया है.