G7 में दिखा भारत का दबदबा! पीएम मोदी को पोप ने लगाया गले,G7 में Modi के सम्मान से Congress परेशान

G7 में दिखा भारत का दबदबा! पीएम मोदी को पोप ने लगाया गले,G7 में Modi के सम्मान से Congress परेशान


भारत को शिखर सम्मेलन में 'आउटरीच देश' के रूप में आमंत्रित किया गया


G7 शिखर सम्मेलन इटली के अपुलिया क्षेत्र में आयोजित किया गया


G7 मे सात सदस्य देशों, अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा, जर्मनी, इटली, जापान, और फ़्रांस, साथ ही यूरोपीय संघकी भागीदारी है




इस दौरान G7 में भारत का दबदबा भी देखने को मिला। दरअसल, भारत G7 समूह का हिस्सा भी नहीं है, हमारा देश विशेष निमंत्रण निमंत्रण पर इस सम्मेलन में शामिल हुआ था, लेकिन इसके बावजूद भारतीय प्रधानमंत्री पूरे समूह के केंद्र में नज़र आए। 

सभी विदेशी राष्ट्राध्यक्षों ने भारतीय प्रधानमंत्री को सम्मान दिया, जो अंतर्राष्ट्रीय पटल पर भारत के बढ़ते कद को दर्शाता है। 


शुक्रवार को प्रधानमंत्री ने इटली में शिखर सम्मेलन के आउटरीच सत्र को संबोधित करते हुए तकनीकी प्रगति, कृत्रिम बुद्धिमत्ता, वैश्विक दक्षिण में भारत की भूमिका और हाल ही में संपन्न लोकसभा चुनावों पर प्रकाश डाला। उन्होंने समाज के सभी वर्गों तक प्रौद्योगिकी की पहुंच सुनिश्चित करके इसके लोकतंत्रीकरण की आवश्यकता पर बल दिया।


उन्होंने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और ऊर्जा, अफ्रीका और भूमध्य सागर पर आयोजित सत्र में बोलते हुए कहा कि, "हमें सामूहिक रूप से यह सुनिश्चित करना होगा कि प्रौद्योगिकी का लाभ सभी वर्गों तक पहुंचे, समाज के प्रत्येक व्यक्ति की क्षमता को उजागर किया जाए, सामाजिक असमानताओं को दूर करने में मदद मिले और मानव क्षमताओं को सीमित करने के बजाय उनका विस्तार किया जाए।

 यह न केवल हमारी इच्छा होनी चाहिए बल्कि हमारी जिम्मेदारी भी होनी चाहिए।" प्रधानमंत्री ने इस बात पर प्रकाश डाला कि भारत कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर राष्ट्रीय रणनीति तैयार करने वाले पहले कुछ देशों में शामिल है और इस वर्ष "कृत्रिम बुद्धिमत्ता सभी के लिए" के मंत्र के साथ कृत्रिम बुद्धिमत्ता मिशन का शुभारंभ किया।


जलवायु परिवर्तन से निपटने के मुद्दे पर प्रधानमंत्री मोदी ने जोर देकर कहा कि भारत "समय से पहले सीओपी के तहत की गई सभी प्रतिबद्धताओं को पूरा करने वाला पहला देश है," उन्होंने कहा कि "हम 2070 तक नेट जीरो के लक्ष्य को प्राप्त करने की अपनी प्रतिबद्धता को पूरा करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं"। 

पीएम मोदी ने लोकसभा चुनावों का जिक्र करते हुए कहा कि, ''तकनीक के व्यापक इस्तेमाल से पूरी चुनावी प्रक्रिया निष्पक्ष और पारदर्शी बनी है।'' 

तीसरी बार सत्ता में वापसी का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ''यह पूरे लोकतांत्रिक विश्व की जीत है।''


इससे पहले आज प्रधानमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान विश्व नेताओं के साथ अलग-अलग द्विपक्षीय बैठकें कीं। प्रधानमंत्री मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की से मुलाकात की। 


उन्होंने शिखर सम्मेलन स्थल पर अपनी इतालवी समकक्ष जॉर्जिया मेलोनी से भी मुलाकात की और दोनों नेताओं ने नमस्ते कहकर एक-दूसरे का अभिवादन किया तथा संक्षिप्त रूप से शुभकामनाएं साझा कीं। 


इसके अलावा, प्रधानमंत्री मोदी ने कार्यक्रम स्थल पर पोप फ्रांसिस का स्वागत किया। उन्होंने पोप को भारत आने का निमंत्रण दिया और कहा कि वे लोगों की सेवा करने और दुनिया को बेहतर बनाने के प्रति उनकी प्रतिबद्धता की प्रशंसा करते हैं। 


विदेश मंत्रालय ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी और मैक्रों ने रक्षा, परमाणु, अंतरिक्ष, शिक्षा, जलवायु कार्रवाई, डिजिटल सार्वजनिक अवसंरचना, महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियों, संपर्क और संस्कृति के क्षेत्रों में साझेदारी को और मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की।


विदेश मंत्रालय ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की ऋषि सुनक के साथ बैठक के दौरान नेताओं ने भारत-ब्रिटेन व्यापक रणनीतिक साझेदारी, रक्षा क्षेत्र में औद्योगिक सहयोग बढ़ाने, व्यापार और वाणिज्य को बढ़ावा देने आदि के बारे में चर्चा की। 

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल के अनुसार, प्रधानमंत्री मोदी और जेलेंस्की ने "द्विपक्षीय संबंधों की समीक्षा की और यूक्रेन की स्थिति पर विचारों का आदान-प्रदान किया। 

प्रधानमंत्री ने बताया कि भारत वार्ता और कूटनीति के माध्यम से संघर्ष के शांतिपूर्ण समाधान को प्रोत्साहित करना जारी रखेगा।


G7 शिखर सम्मेलन के आउटरीच सत्र में भाग लेने के लिए पहुंचे प्रधानमंत्री मोदी ने पोप फ्रांसिस से भी मुलाकात की। 

उन्होंने पोप को गले लगाया और संक्षिप्त रूप से उनका अभिवादन किया। प्रधानमंत्री की शिखर सम्मेलन से इतर पोप के साथ एक अलग बैठक होने की संभावना है। 

प्रधानमंत्री ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, ऊर्जा, अफ्रीका-भूमध्यसागरीय शिखर सम्मेलन में भी भाग लिया, जिसकी मेजबानी इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी करेंगी और इसमें पोप फ्रांसिस भी शामिल होंगे।


इटली ने भारत को आउटरीच देश के रूप में शिखर सम्मेलन में भाग लेने का निमंत्रण दिया । यह G7 शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी की लगातार पांचवीं भागीदारी थी, जबकि भारत ने पिछले दस शिखर सम्मेलनों में भाग लिया था।

 G7 के वर्तमान अध्यक्ष के रूप में, इटली यूरोपीय संघ के साथ कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, जापान, यूके और अमेरिका सहित सात प्रमुख उन्नत अर्थव्यवस्थाओं के समूह की सभा की मेजबानी कर रहा है।


भारत के अलावा, इटली ने अफ्रीका, दक्षिण अमेरिका और हिंद-प्रशांत क्षेत्र के 11 विकासशील देशों के नेताओं को जी7 शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया।


इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया। भारत ने जी7 शिखर सम्मेलन में 'आउटरीच राष्ट्र' के रूप में भाग लिया। 

दुनिया भर के नेताओं ने शुक्रवार रात जी-7 शिखर सम्मेलन के 'आउटरीच राष्ट्र' सत्र में एक फैमिली तस्वीर खिंचवाई।

 प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर यह तस्वीर साझा की। उन्होंने लिखा 'इटली में जी7 शिखर सम्मेलन में विश्व नेताओं के साथ।'


इस मौके पर उन्होंने कहा कि टेक्नोलॉजी मनुष्य को चांद तक ले जाने का साहस देती है, मगर साइबर सिक्योरिटी जैसी चुनौतियां भी पैदा करती है। हमें यह मिलकर सुनिश्चित करना होगा कि समाज के हर तबके तक इसका लाभ पहुंचे।


उन्होंने कहा कि हमें टेक्नोलॉजी के अधिकार को सर्वाधिकार में बदलना होगा। हमें इसे रचनात्मक बनाना होगा, ना कि विनाशकारी। 

तभी हम एक बेहतर समाज बना पाएंगे। भारत AI के लिए राष्ट्रीय नीति बनाने वाले कुछ देशों में शामिल है। इसके लिए हमने A.I. मिशन भी लॉन्च किया है। इसका मूलमंत्र A.I. For All है।


समिट में मोदी और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की के बीच भी मुलाकात हुई। दोनों नेता गले लगे। इसके बाद द्विपक्षीय बैठक हुई।


जंग शुरू होने के बाद यह दूसरा मौका है जब मोदी जेलेंस्की से मिले हैं। इससे पहले पिछले साल दोनों नेताओं ने जापान में G7 समिट में मुलाकात की थी।


मेलोनी ने कहा कि इटली की अध्यक्षता में G7 समूह इस नरेटिव को कभी स्वीकार नहीं करेगा कि 'पश्चिमी देश दुनिया के खिलाफ हैं।


PM मेलोनी ने कहा, "G7 के मुद्दों में भूमध्यसागर का क्षेत्र और अफ्रीकी कॉन्टिनेंट को भी शामिल किया गया है। हमें मिलकर इस क्षेत्र में सहयोग और समानता को बढ़ाने के लिए काम करना है।" इसके अलावा हमें क्लाइमेट चेंज जैसे बड़े मुद्दे से भी मिलकर निपटना होगा।


PM मोदी से बैठक के दौरान सुनक ने उन्हें लोकसभा चुनाव में जीत की बधाई दी। साथ ही उन्होंने खुशी जताई की 15 जून को स्विटजरलैंड में होने वाले यूक्रेन पीस समिट में भारत हिस्सा ले रहा है।


दोनों नेताओं ने भारत-ब्रिटेन की साझेदारी से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की।


PM मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों से मुलाकात की है। दोनों नेता G7 के बैनर तले द्विपक्षीय बैठक की। विदेश मंत्रालय के मुताबिक, इस दौरान उन्होंने डिफेंस, न्यूक्लियर, स्पेस, डिजिटल टेक्नोलॉजी और एजुकेशन के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने पर चर्चा की। मोदी-मैक्रों ने वैश्विक और क्षेत्रीय मुद्दों पर भी बात की।


ये पहली बार नहीं जब भारत को इस संगठन ने गेस्ट के तौर पर बुलाया हो। भारत सबसे पहले 2003 में इस समिट में शामिल हुआ था। इसके लिए तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी फ्रांस गए थे।

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